Movie/Album: नदिया के पार (1982)
Music By: रविन्द्र जैन
Lyrics By: रविन्द्र जैन
Performed By: सुरेश वाडकर, हेमलता
गूँजा रे, चन्दन चन्दन चन्दन
हम दोनों में दोनों खो गए
देखो एक दूसरे के हो गए
राम जाने वो घड़ी कब आएगी
जब होगा हमार गठबँधन
गूँजा रे...
हो सोना नदी के पानी हिलोर मारे
प्रीत मनवा मा हमरे जोर मारे
है ऐसन कइसन होई गवा रे, राम जाने
राम जाने वो घड़ी...
तेरे सपनों में डूबी रहे आँखें
तेरी खुशबू से महक रही साँसें
रंग तेरे पाँव का लग के मेरे पाँव में
कहे दिन काटेंगे रँगों की छाँव में
हो, बूढ़े बरगद की माटी को सीस धर ले
दीपा सत्ती को सौ-सौ परनाम कर ले
ओ देगी आसीस तो जल्दी बियाहेगी, राम जाने
राम जाने वो घड़ी...
Music By: रविन्द्र जैन
Lyrics By: रविन्द्र जैन
Performed By: सुरेश वाडकर, हेमलता
गूँजा रे, चन्दन चन्दन चन्दन
हम दोनों में दोनों खो गए
देखो एक दूसरे के हो गए
राम जाने वो घड़ी कब आएगी
जब होगा हमार गठबँधन
गूँजा रे...
हो सोना नदी के पानी हिलोर मारे
प्रीत मनवा मा हमरे जोर मारे
है ऐसन कइसन होई गवा रे, राम जाने
राम जाने वो घड़ी...
तेरे सपनों में डूबी रहे आँखें
तेरी खुशबू से महक रही साँसें
रंग तेरे पाँव का लग के मेरे पाँव में
कहे दिन काटेंगे रँगों की छाँव में
हो, बूढ़े बरगद की माटी को सीस धर ले
दीपा सत्ती को सौ-सौ परनाम कर ले
ओ देगी आसीस तो जल्दी बियाहेगी, राम जाने
राम जाने वो घड़ी...
No comments :
Post a Comment
यह वेबसाइट/गाना पसंद है? तो कुछ लिखें...