Movie/Album: बियॉन्ड टाइम (1987)
Music By: जगजीत सिंह
Lyrics By: मुराद लखनवी
Performed By: चित्रा सिंह
मेरा दिल भी शौक़ से तोड़ो
एक तजुर्बा और सही
लाख खिलौने तोड़ चुके हो
एक खिलौना और सही
मेरा दिल भी शौक़...
रात है ग़म की, आज बुझा दो
जलता हुआ हर एक चराग
दिल में अंधेरा हो ही चुका है
घर में अंधेरा और सही
मेरा दिल भी
दम है निकलता इक आशिक़ का
भीड़ है, आ कर देख तो लो
लाख तमाशे देखे होंगे
एक नज़ारा और सही
मेरा दिल भी
खंजर ले कर सोचते क्या हो
क़त्ल-ए-'मुराद' भी कर डालो
दाग हैं सौ दामन पे तुम्हारे
एक इज़ाफ़ा और सही
मेरा दिल भी...
Music By: जगजीत सिंह
Lyrics By: मुराद लखनवी
Performed By: चित्रा सिंह
मेरा दिल भी शौक़ से तोड़ो
एक तजुर्बा और सही
लाख खिलौने तोड़ चुके हो
एक खिलौना और सही
मेरा दिल भी शौक़...
रात है ग़म की, आज बुझा दो
जलता हुआ हर एक चराग
दिल में अंधेरा हो ही चुका है
घर में अंधेरा और सही
मेरा दिल भी
दम है निकलता इक आशिक़ का
भीड़ है, आ कर देख तो लो
लाख तमाशे देखे होंगे
एक नज़ारा और सही
मेरा दिल भी
खंजर ले कर सोचते क्या हो
क़त्ल-ए-'मुराद' भी कर डालो
दाग हैं सौ दामन पे तुम्हारे
एक इज़ाफ़ा और सही
मेरा दिल भी...
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