तेरी झील सी गहरी आँखों - Teri Jheel Si Gehri Aankhon (Nitin Mukesh, Vani Jairam, Dhuen Ki Lakeer)

Movie/Album: धुंए की लकीर (1974)
Music By: श्यामजी घनश्यामजी
Lyrics By: रामेश्वर त्यागी
Performed By: नितिन मुकेश, वाणी जयराम

तेरी झील सी गहरी आँखों में
कुछ देखा हमने
क्या देखा?
तुम बताओ
मैं समझ गई रे, दीवाने
तूने रात कोई सपना देखा
तेरी झील सी गहरी...

साँसों में छिपी धड़कन के संग
जब प्यार ने ली थी अंगडाई
एक स्वर्ग-परी छम-छम करती
बाँहों में मेरी, आ, मुस्काई
मदमस्त जवानी का पलकों के
आँचल में छिपना देखा
मैं समझ गई रे...

अमृत के सागर की श्रुति
मंदिर के दीपक की ज्योति
अल्हड़ कमलों पर पड़े हुए
हीरे, नीलम, माणिक, मोती
तेरी उठती-झुकती पलकों में
सूरज देखा, चंदा देखा
मैं समझ गई रे...

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