Movie/Album: रंगीन रातें (1956)
Music By: रोशन
Lyrics By: केदार शर्मा
Performed By: सुधा मल्होत्रा, मुबारक बेग़म
घूँघट हटाय के, नज़रें मिलाय के
बलमा से कह दूँगी बात
चोरी-चोरी चुपके-चुपके
बलमा से कह दूँगी बात
घूँघट हटाय के...
बार-बार ले के अंगड़ाई
मैं खुद ही हँसी, खुद ही शरमाई
कहने को औरत की ज़ात
ओ यही चोरी-चोरी चुपके-चुपके...
हर धड़कन में नए तराने
होठों पर हैं गीत सुहाने
नैनों में क्यों बरसात
हाय राम नैनों में क्यों बरसात
ओ यही चोरी-चोरी चुपके-चुपके...
कब अँखियन की प्यास बुझाओ
जाने कब सपना बन आओ
आँखों में काटूँ मैं रात
हाय राम आँखों में काटूँ मैं रात
ओ यही चोरी-चोरी चुपके-चुपके...
घूँघट हटाई के...
Music By: रोशन
Lyrics By: केदार शर्मा
Performed By: सुधा मल्होत्रा, मुबारक बेग़म
घूँघट हटाय के, नज़रें मिलाय के
बलमा से कह दूँगी बात
चोरी-चोरी चुपके-चुपके
बलमा से कह दूँगी बात
घूँघट हटाय के...
बार-बार ले के अंगड़ाई
मैं खुद ही हँसी, खुद ही शरमाई
कहने को औरत की ज़ात
ओ यही चोरी-चोरी चुपके-चुपके...
हर धड़कन में नए तराने
होठों पर हैं गीत सुहाने
नैनों में क्यों बरसात
हाय राम नैनों में क्यों बरसात
ओ यही चोरी-चोरी चुपके-चुपके...
कब अँखियन की प्यास बुझाओ
जाने कब सपना बन आओ
आँखों में काटूँ मैं रात
हाय राम आँखों में काटूँ मैं रात
ओ यही चोरी-चोरी चुपके-चुपके...
घूँघट हटाई के...
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