जीतने के लिए - Jeetne Ke Liye (K.K., Azhar)

Movie/Album: अज़हर (2016)
Music By: अमाल मलिक
Lyrics By: कुमार
Performed By: के.के.

आसमां भी हारता है
ज़मीं पे वक्त गुज़ारता है
फिर से ऊँचाईयों की चाह में
ज़िन्दगी जो टूटती है
नींद सारी रूठती है
हौंसला मिल ही जाता है राह में
फिर उड़ेगा दिल उन उड़ानों में
फिर लड़ेगा दिल दो जहानों से
जीतने के लिये ओ जीतने के लिये
जीतने के लिये...

कहते हैं ये इरादे सभी
टूटा हूँ मैं बिखरा नहीं
धूप में जो पिघल जाये
मैं वो बर्फ़ का टुकड़ा नहीं
ना डरेगा दिल इन तूफानों से
फिर लड़ेगा दिल...

दिन में देखी रातें कई
होने लगी सुबह नयी
अंधेरों की दरारों से अब
दिखने लगी है रोशनी
ना डरेगा दिल इम्तिहानों से
फिर लड़ेगा दिल...

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