Movie/Album: ये इश्क़ नहीं आसाँ (1984)
Music By: लक्ष्मीकांत-प्यारेलाल
Lyrics By: आनंद बक्षी
Performed By: अनवर हुसैन
मेरे ख़यालों की रहगुज़र से
वो देखिए वो गुज़र रहे हैं
मेरी निगाहों के आसमाँ से
ज़मीन-ए-दिल पर उतर रहे हैं
मेरे ख्यालों की...
ये कैसे मुमकिन है हमनशीनों
के दिल को दिल की ख़बर न पहुँचे
उन्हें भी हम याद आते होंगे
के जिनको हम याद कर रहे हैं
मेरे ख्यालों की...
तुम्हारे ही दम क़दम से थी
जिनकी मौत और ज़िंदगी अबारत
बिछड़ के तुम से वो नामुराद अब
न जी रहे हैं, न मर रहे हैं
मेरे ख्यालों की...
इसी मोहब्बत की रोज़-ओ-शब हम
सुनाया करते थे दास्तानें
इसी मोहब्बत का नाम लेते
हुए भी हम आज डर रहे हैं
मेरे ख्यालों की...
चले हैं थोड़े ही दूर तक बस
वो साथ मेरे सलीम फिर भी
ये बात कैसे मैं भूल जाऊँ
कि हम कभी हमसफ़र रहे हैं
मेरे निगाहों के...
Music By: लक्ष्मीकांत-प्यारेलाल
Lyrics By: आनंद बक्षी
Performed By: अनवर हुसैन
मेरे ख़यालों की रहगुज़र से
वो देखिए वो गुज़र रहे हैं
मेरी निगाहों के आसमाँ से
ज़मीन-ए-दिल पर उतर रहे हैं
मेरे ख्यालों की...
ये कैसे मुमकिन है हमनशीनों
के दिल को दिल की ख़बर न पहुँचे
उन्हें भी हम याद आते होंगे
के जिनको हम याद कर रहे हैं
मेरे ख्यालों की...
तुम्हारे ही दम क़दम से थी
जिनकी मौत और ज़िंदगी अबारत
बिछड़ के तुम से वो नामुराद अब
न जी रहे हैं, न मर रहे हैं
मेरे ख्यालों की...
इसी मोहब्बत की रोज़-ओ-शब हम
सुनाया करते थे दास्तानें
इसी मोहब्बत का नाम लेते
हुए भी हम आज डर रहे हैं
मेरे ख्यालों की...
चले हैं थोड़े ही दूर तक बस
वो साथ मेरे सलीम फिर भी
ये बात कैसे मैं भूल जाऊँ
कि हम कभी हमसफ़र रहे हैं
मेरे निगाहों के...
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