Movie/Album: हिंदुस्तान की कसम (1973)
Music By: मदन मोहन
Lyrics By: कैफ़ी आज़मी
Performed By: मन्ना डे
हर तरफ अब यही अफसाने हैं
हम तेरी आँखों के दीवाने हैं
कितनी सच्चाई हैं इन आँखों में
खोटे सिक्के भी खरे हो जाये
तू कभी प्यार से देखे जो उधर
सूखे जंगल भी हरे हो जाये
बाग़ बन जाये जो वीराने हैं
हम तेरी आँखों...
एक हल्का सा इशारा इनका
कभी दिल और कभी जाँ लूटेगा
किस तरह प्यास बुझेगी उसकी
किस तरह उसका नशा टूटेगा
जिसकी किस्मत में ये पैमाने हैं
हम तेरी आँखों...
नीची नज़रों में हैं इतना जादू
हो गये पल में कई ख्वाब जवां
कभी उठने कभी झुकने की अदा
ले चली जाने किधर जाने कहाँ
रास्ते प्यार के अनजाने हैं
हम तेरी आँखों...
Music By: मदन मोहन
Lyrics By: कैफ़ी आज़मी
Performed By: मन्ना डे
हर तरफ अब यही अफसाने हैं
हम तेरी आँखों के दीवाने हैं
कितनी सच्चाई हैं इन आँखों में
खोटे सिक्के भी खरे हो जाये
तू कभी प्यार से देखे जो उधर
सूखे जंगल भी हरे हो जाये
बाग़ बन जाये जो वीराने हैं
हम तेरी आँखों...
एक हल्का सा इशारा इनका
कभी दिल और कभी जाँ लूटेगा
किस तरह प्यास बुझेगी उसकी
किस तरह उसका नशा टूटेगा
जिसकी किस्मत में ये पैमाने हैं
हम तेरी आँखों...
नीची नज़रों में हैं इतना जादू
हो गये पल में कई ख्वाब जवां
कभी उठने कभी झुकने की अदा
ले चली जाने किधर जाने कहाँ
रास्ते प्यार के अनजाने हैं
हम तेरी आँखों...
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