Movie/Album: वन्स अपॉन अ टाइम इन मुंबई (2010)
Music By: प्रीतम चक्रबर्ती
Lyrics By: अमिताभ भट्टाचार्य
Performed By: मीका सिंह
अक्खा ये शहर बड़ा, अपनी जेब में पड़ा
खुल्ला राज है बस क्या
उंगली ये ट्रिग्गर पे है, डेरिंग भी जिग़र में है
अपनी ठाठ है बस क्या
ओ अपना टाइम है, ऐश-कैश भी ज़बरदस्त है
अंडरग्राउंड हर चीज़ का, यहाँ बंदोबस्त है
बाबू राव मस्त है मस्त है
मस्त मस्त है...
ओ कल तक तो चार सिक्के ही जेब में खनखना रहे थे
नोटों के बिस्तर आज है
काले धंधे के बाज़ार में जो बिकता कभी नहीं है
अपने सर पे वो ताज़ है
रोके जो कोई अगर, सीधा ठोक दे उधर
छः फुट गाड़ दे बस क्या
उंगली ये ट्रिग्गर पे है, डेरिंग भी जिग़र में है
अपनी ठाठ है बस क्या
ऐ ब्लैक वाइट में, रॉंग राईट सब, एडजस्ट है
अंडरग्राउंड हर चीज़ का यहाँ बंदोबस्त है
बाबू राव मस्त है...
ओ दुनिया ये मतलबी है, बड़ी कमीनी जगह है यारों
माँगे कुछ मिलता है कहाँ
जो चाहे ये वो कॉलर पकड़ के, हम तो निकालते हैं
वट अपना चलता है यहाँ
ओ अपने पैर के तले, सिस्टम सारा ये चले
जी ले फाड़ के बस क्या
उंगली ये ट्रिग्गर पे है, डेरिंग भी जिग़र में है
अपनी ठाठ है बस क्या
पीछे लाइन में है सब खड़े, अपन फर्स्ट है
अंडरग्राउंड हर चीज़ का यहाँ बंदोबस्त है
बाबू राव मस्त है...
Music By: प्रीतम चक्रबर्ती
Lyrics By: अमिताभ भट्टाचार्य
Performed By: मीका सिंह
अक्खा ये शहर बड़ा, अपनी जेब में पड़ा
खुल्ला राज है बस क्या
उंगली ये ट्रिग्गर पे है, डेरिंग भी जिग़र में है
अपनी ठाठ है बस क्या
ओ अपना टाइम है, ऐश-कैश भी ज़बरदस्त है
अंडरग्राउंड हर चीज़ का, यहाँ बंदोबस्त है
बाबू राव मस्त है मस्त है
मस्त मस्त है...
ओ कल तक तो चार सिक्के ही जेब में खनखना रहे थे
नोटों के बिस्तर आज है
काले धंधे के बाज़ार में जो बिकता कभी नहीं है
अपने सर पे वो ताज़ है
रोके जो कोई अगर, सीधा ठोक दे उधर
छः फुट गाड़ दे बस क्या
उंगली ये ट्रिग्गर पे है, डेरिंग भी जिग़र में है
अपनी ठाठ है बस क्या
ऐ ब्लैक वाइट में, रॉंग राईट सब, एडजस्ट है
अंडरग्राउंड हर चीज़ का यहाँ बंदोबस्त है
बाबू राव मस्त है...
ओ दुनिया ये मतलबी है, बड़ी कमीनी जगह है यारों
माँगे कुछ मिलता है कहाँ
जो चाहे ये वो कॉलर पकड़ के, हम तो निकालते हैं
वट अपना चलता है यहाँ
ओ अपने पैर के तले, सिस्टम सारा ये चले
जी ले फाड़ के बस क्या
उंगली ये ट्रिग्गर पे है, डेरिंग भी जिग़र में है
अपनी ठाठ है बस क्या
पीछे लाइन में है सब खड़े, अपन फर्स्ट है
अंडरग्राउंड हर चीज़ का यहाँ बंदोबस्त है
बाबू राव मस्त है...
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