चाँद आया है - Chand Aaya Hai (Udit Narayan, Kavita Krishnamurthy, Dil Hi Dil Mein)

Movie/Album: दिल ही दिल में (2000)
Music By: ए.आर.रहमान
Lyrics By: महबूब
Performed By: उदित नारायण, कविता कृष्णामूर्ति

चाँद आया है ज़मीं पे, आज गरबे की रात में
छुपा है वो यहीं कहीं पे, आज गरबे की रात में
अरे ढूँढो-ढूँढो रे, शरमा रहा है वो
कुछ तो बात है जो आया वो
मौका है ये कहने-सुनने का
मौका निकलने ना दो
चाँद आया है ज़मीं...

चुप तुम्हारे उन लबों पे भी है
चुप हमारे इन लबों पे भी है
बोलती हैं ये निगाहें मेरे यार, मेरे यार
हसीं हो सनम तुम चाँद से भी ज़्यादा
गहरी हैं ज़ुल्फ़ें जैसे रात कोई
तारीफें करो ना इतनी भी ज़्यादा
रुके ना शरम से ये साँसें मेरी
जो दिल में है बोलूँ मैं
बस तुमको ही देखूँ मैं
जीवन यूँ ही बिता दूँ, मेरे यार
चाँद आया है ज़मीं...

प्यार-सा नहीं जहां में कोई
यार-सा नहीं जहां में कोई
दोनों के बिना यहाँ पे जीना क्या, मेरे यार
पहली नज़र में लूटा था दिल को
जादूगर सलाम मेरा तुमको
इतनी मोहब्बत दोगे जो हमको
कम ही पड़ेगी ज़िन्दगी हमको
जन्मों का नाता है ये
प्यार वफ़ा का रिश्ता है ये
टूटे ना ये बंधन देखो, मेरे यार

क्या-क्या इरादे होने लगे हैं, इस गरबे की रात में
कसमें-वादे होने लगे हैं, इस गरबे की रात में
वाह रे वाह क्या आई है ये रात रे
छिड़ी है मिलन की कोई बात रे
हम भी तो हैं तुम दिलवालों के ही साथ में...

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