Music By: आनंद भास्कर
Lyrics By: गिन्नी दीवान
Performed By: प्रतीची मोहापात्रा
नज़रों से ना छू मुझे
थोड़ा करीब आने दे
रेशमी इन रातों को
ऐसे ना ढल जाने दे
बेताबियाँ बेइन्तहा हैं
कुछ और बढ़ाने दे
प्यार से प्यार को जला के
खुद में सुलग जाने दे
है मोम से लम्हे तो जल जाने दे
आ नज़रों से दिल को पिघल जाने दे
ये रातें खामोश सी बैठी हुई हैं
कानो में प्यार घुल जाने दे
अब सब हो जाने दे
अब सब हो जाने दे...
बेताबी बेइन्तहा है
मदहोशियों का कारवाँ है
गिर जाने दे परदे सभी
हद में रहे ना कुछ कहीं
बहकी हुई बदमाशियाँ हैं
हाहा
है मखमली तेरे, इन बाहों के घेरे
आ कैद कर मुझको तू आजा
(आजा आजा आज आजा)
हैं लब पे ये मेरे, तेरी साँसों के फेरे
रूक जा तू आज कहीं ना जा
बेताबियाँ बेइन्तहा हैं
कुछ और बढ़ाने दे
बेकाबू बेचैनियाँ हैं
इक बार सिमट जाने दे
है मोम से लम्हे तो...
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