Movie/Album: आह (1953)
Music By: शंकर-जयकिशन
Lyrics By: हसरत जैपुरी
Performed By: मुकेश, लता मंगेशकर
जाने न नज़र पहचाने जिगर
ये कौन जो दिल पर छाया
मेरा अंग-अंग मुस्काया
आवाज़ ये किसकी आती है
जो छेड़ के दिल को जाती है
मैं सुन के जिसे शर्मा जाऊं
है कौन जो दिल में समाया
मेरा अंग-अंग मुस्काया
ढूँढेंगे उसे हम तारों में
सावन की ठंडी बहारों में
पर हम भी किसी से कम तो नहीं
क्यों रूप को अपने छुपाया
मुझे रोज़-रोज़ तड़पाया
बिन देखे जिसको प्यार करूं
गर देखूँ उस को जान भी दूँ
एक बार कहो ओ जादूगर
ये कौन सा खेल रचाया
मेरा अंग-अंग मुस्काया
Music By: शंकर-जयकिशन
Lyrics By: हसरत जैपुरी
Performed By: मुकेश, लता मंगेशकर
जाने न नज़र पहचाने जिगर
ये कौन जो दिल पर छाया
मेरा अंग-अंग मुस्काया
आवाज़ ये किसकी आती है
जो छेड़ के दिल को जाती है
मैं सुन के जिसे शर्मा जाऊं
है कौन जो दिल में समाया
मेरा अंग-अंग मुस्काया
ढूँढेंगे उसे हम तारों में
सावन की ठंडी बहारों में
पर हम भी किसी से कम तो नहीं
क्यों रूप को अपने छुपाया
मुझे रोज़-रोज़ तड़पाया
बिन देखे जिसको प्यार करूं
गर देखूँ उस को जान भी दूँ
एक बार कहो ओ जादूगर
ये कौन सा खेल रचाया
मेरा अंग-अंग मुस्काया
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