Movie/Album: बंदिनी (1963)
Music By: एस.डी.बर्मन
Lyrics By: शैलेन्द्र
Performed By: एस.डी.बर्मन
ओ रे माँझी
ओ रे माँझी
ओ मेरे माँझी
मेरे साजन हैं उस पार
मैं मन मार, हूँ इस पार
ओ मेरे माँझी अब की बार
ले चल पार, ले चल पार
मेरे साजन हैं उस पार..
मन की किताब से तुम
मेरा नाम ही मिटा देना
गुण तो न था कोई भी
अवगुण मेरे भुला देना
मुझे आज की विदा का
मर के भी रहता इंतज़ार
मेरे साजन हैं उस पार..
मत खेल जल जाएगी
कहती है आग मेरे मन की
मैं बंदिनी पिया की
मैं संगिनी हूँ साजन की
मेरा खींचती है आँचल
मनमीत तेरी, हर पुकार
मेरे साजन..
ओ रे माँझी...
Music By: एस.डी.बर्मन
Lyrics By: शैलेन्द्र
Performed By: एस.डी.बर्मन
ओ रे माँझी
ओ रे माँझी
ओ मेरे माँझी
मेरे साजन हैं उस पार
मैं मन मार, हूँ इस पार
ओ मेरे माँझी अब की बार
ले चल पार, ले चल पार
मेरे साजन हैं उस पार..
मन की किताब से तुम
मेरा नाम ही मिटा देना
गुण तो न था कोई भी
अवगुण मेरे भुला देना
मुझे आज की विदा का
मर के भी रहता इंतज़ार
मेरे साजन हैं उस पार..
मत खेल जल जाएगी
कहती है आग मेरे मन की
मैं बंदिनी पिया की
मैं संगिनी हूँ साजन की
मेरा खींचती है आँचल
मनमीत तेरी, हर पुकार
मेरे साजन..
ओ रे माँझी...
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